क्या भगवान नेमिनाथ के विवाह में पशुओं का हिंसा के लिए बंधा होना सत्य है?

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शंका

क्या भगवान नेमिनाथ के विवाह में पशुओं का हिंसा के लिए बंधा होना सत्य है?

समाधान

यह जो घटना है, यह एक कूटनीतिक प्रयोग है यथार्थ नहीं हैं। तीर्थंकरों के कुल में जीव हिंसा की तो कल्पना भी नहीं की जा सकती और जहाँ ऐसे कुल के लोगों का सम्बन्ध हो, वहाँ भी नहीं किया जा सकता।

नेमिनाथ भगवान ने जब अपने बल और पराक्रम का परिचय दे दिया था तब श्री कृष्ण के मन में थोड़ी सी चिन्ता हुई कि यदि तीर्थंकर राज्य में रहेंगे, तो मेरा क्या होगा? वे लीला पुरुष तो थे ही, उन्होंने जब उनके विवाह के प्रस्ताव को आगे बढ़ाया तो किसी भी तरह से उन्होंने सोचा, कि नेमिकुमार को वैराग्य करा दिया जाए। कोई न कोई निमित्त चाहिए, तब उन्होंनें जाना कि नेमिकुमार बहुत संवेदनशील और करूणापूरित जीव है, तो इनकी संवेदना को जगा दिया जाए तो ये वैराग्य कर लेंगे। इसी भाव से उन्होंने जानबूझकर के सड़क पर जानवरों को बन्धवाया। अगर कोई खाने वाला भी होता तो जानवरों को मुख्य मार्ग पर थोड़ी बांध के रखा जाता है, वह तो कहीं गुप्त स्थान पर होता है। लेकिन भूखे जानवरों को बाड़े में बंद कर रखा गया ताकि वे कराहें और उनकी कराहें नेमीकुमार के कान तक जाएँ और जैसा वह चाहते थे वैसा हो गया। नेमिकुमार को वैराग्य हो गया। 

यह एक कूटनीतिक प्रकरण है, उसको ऐसे ही लेना। यह नहीं सोचना कि वहाँ ऐसे माँसभक्षी राजा-महाराजा आए थे। ऐसे मलिच्छ तीर्थंकरों के वंश में नहीं होते।

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