क्या जो है, वो पर्याप्त है?
What all we have is sufficient enough?
आज की भाग-दौड़ भरी प्रतिस्पर्धा के जीवन में हम लोग कहीं न कहीं “पर्याप्त” शब्द का मतलब भूल से गए हैं। हमे ये ज्ञात होने चाहिए की हमारे लिए कौनसी चीज़ कितनी पर्याप्त है और हमारे पास ऐसा क्या है जो पर्याप्त है। सुनिए मुनि श्री प्रणाम सागर जी द्वारा कि क्या जो है, वो पर्याप्त है?
Leave a Reply